परिचय- ओम प्रकाश का साहित्यिक उपनाम-अत्रि है। १ मई १९९३ को उत्तर प्रदेश राज्य के सीतापुर जिले के एक छोटे से गाँव गुलालपुरवा में जन्मे हैं। वर्तमान में उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में रहते हैं,जबकि स्थाई पता-गुलालपुरवा,जिला सीतापुर है। आपको हिन्दी,संस्कृत,अंग्रेजी सहित अवधी,ब्रज,खड़ी बोली,भोजपुरी भाषा का भी ज्ञान है। उत्तर प्रदेश से नाता रखने वाले ओमप्रकाश जी की पूर्ण शिक्षा-स्नातक(हिन्दी प्रतिष्ठा),परास्नातक (हिन्दी) एम.फिल.हिन्दी है। विद्यावाचस्पति उपाधि हेतु वर्तमान में शोधरत हैं। इनका कार्यक्षेत्र- कविता कहानी,नाटक और आलेखों में सामाज की विभिन्न विषमताओं का सृजन करना है। सामाजिक गतिविधि में आप किसान-मजदूर के जीवन संघर्ष का चित्रण करते हैं। लेखन विधा-कविता,कहानी,नाटक, लेख तथा पुस्तक समीक्षा है। कुछ पत्र-पत्रिकाओं में आपकी रचनाएं छ्पी हैं। आपकी विशेष उपलब्धि हिन्दी भाषा के विकास पर है। अत्रि की लेखनी का उद्देश्य-साहित्य के विकास को आगे बढ़ाना और सामाजिक समस्याओं से लोगों को रूबरू कराना है। इनके पसंदीदा हिन्दी लेखक-रामधारीसिंह ‘दिनकर’ सहित नागार्जुन और मुंशी प्रेमचंद हैं। आपके लिए प्रेरणा पुंज-नागार्जुन हैं। विशेषज्ञता-कविता, कहानी,नाटक लिखना है। वर्तमान समय में अवधी भाषा की जानी-मानी पत्रिका 'भाखा' के सहसंपाक हैं। इसके साथ ही अंतर्राष्ट्रीय भाषा संस्थान, सूरत से भी संबंधित हैं। देश और हिन्दी भाषा के प्रति आपके विचार-

“भारत की भाषाओंं में

है अस्तित्व जमाए हिन्दी,
हिन्दी हिन्दुस्तान की न्यारी
सब भाषा से प्यारी हिन्दी।”